Category: हितेश कुमार शर्मा
अजर अमर व्यक्तित्व अटल ध्रुव तारा ज्यों विश्व पटल IIस्वर्णिम इतिहास गौरव गाथा गौरवान्वित हुई भारतमाता IIअजातशत्रु भारत रत्न अटल सरल स्वभाव, कार्य जटिल IIराजनीति के सर्वोच्च शिखर विद्वान …
उम्र के अंतिम पड़ाव परसुध बुध भी खो गयीबंद कमरे में एक छोटी सी खिड़कीमेरी सारी दुनिया हो गयीजो मुझे साँझ और सवेरेसे परिचित करवाती थीझरोखे से आती सूरज …
दुर्गेश मिश्रा
13/05/2017
अज्ञात कवि, ओमेन्द्र शुक्ला, धर्मेन्द्र कुमार निवातियाँ, नवल पाल प्रभाकर, मदन मोहन सक्सेना, मनिंदर सिंह मनी, राम केश मिश्र, शर्मन, शिशिर कुमार गोयल, सजन कुमार मुरारका, हरदीप कौर सन्धु, हरदीप बिरदी, हरप्रसाद पुष्पक, हरमीत शर्मा कवि, हरि पौडेल, हरि शंकर सैनी, हरिओम कुमार, हरिवंशराय बच्चन, हरिहर झा, हरेन्द्र पंडित, हर्ष कुमार सेठ, हसरत जयपुरी, हितेन पाटीदार, हितेश कुमार शर्मा, हिमांशु 'मोहन', हिमांशु श्रीवास्तव, हेमन्त 'मोहन', हेमन्त कुमार, हेमन्त खेतान, हेमन्त शेष
– एक सफ़र देखे मैंने इस सफर में दुनिया के अद्भुत नज़ारे, दूर बैठी शोर गुल से यमुना को माटी में मिलते | की देखा मैंने इस सफर में….. …
कोरे कागज दिल पर , प्रेम लकीर खींच मैली गठरी हुई तेरी , देख नयन मीच तन मैल धोयी के , उज्जवल दियो बनाए मन दर्पण होये कैसे , …
दिलों में बनी सरहद को अब मिटाना होगा पानी होते खून को फिर खून बनाना होगा मोहब्बत के लफ्ज जो नफरत की परिभाषा बने उन्ही लफ्जों को अब …
यहाँ हर धर्म की इक अजीब कहानी है अपना खून खून दूसरों का पानी है वक़्त की गजब चाल को समझे भी कैसे नफरत की गिरफ्त में यहाँ हर …
सूखी धरा हरी भरी हुई बारिश की बूँदों में प्रकृति की हुई छट्ठा नयी बारिश की बूँदों में नीलगगन पर श्यामल घटा बारिश की बूँदों में धरती से धूल …
बिहार में बंद हुई मधुशाला नितीश जी ये आपने क्या कर डाला बिहार में क्यों बंद की मधुशाला रोज़ शाम को वो मधुशाला में मिलना मदहोशी के आलम में …
इस बेनाम चाहत का न जाने अंजाम क्या होगा बैचैन दिल को जो सुकून देगा उसका नाम क्या होगा निगाहें ढूंढती हैं हरपल उस हमसफ़र को कहीं मिल वो …
बहुत हुआ सर झुका के बंदन अब खोल सारे मन के बंधन कुंठित था तेरा मन सदा से अब तो सुलझा ये उलझे धागे सांस सांस में घटता जीवन …
जलधि की तरंग में जीवन की उमंग में फूलों के रंग में प्रीतम के संग में II आओ चलो खो जाएँ II मधुर संगीत में प्यार के गीत में …
खुदा कसम अगर वो बेनकाब हो जाये बरसो पुराना सच मेरा ख्वाब हो जाये एक बार जो छू ले वो बहते दरिया का पानी तो सारे के सारे समंदर …
न इस में हाँ होती है न इस में ना होती है मोहब्बत तो जज़्बातों से बयां होती है तमाम उम्र तेरा इंतज़ार कैसे करें सब्र की भी तो …
न भूले तुम , न भूले हम मोहब्बत किसी की न थी कम दुनिया के झूठे रीति – रिवाजो ने धर्म से निकले अल्फाजों ने इस जहाँ से हमें …
मैं तो सिर्फ तुमे ही मानता महान तुम तो ठहरे कलयुग के भगवान तुम्हारी ताकत का है मुझे अंदाज़ा अपने क्षेत्र के तुम हो राजा अपने घर भी तुमने …
हर रोज़ सबक सिखाती है ये दुनिया सताए हुए को और सताती है ये दुनिया तू सिर्फ अपना फ़र्ज़ निभाए जा वरना कहाँ अपना फ़र्ज़ निभाती है ये दुनिया …
हर किसी ने दिल में बदरंग तस्वीर उतारी क्यों है आज मुल्क में मोहब्बत पर नफरत भारी क्यों है मजहब की चादर से अमन धुल सा गया है और …
तू एक बार बुलाकर तो देख, तुम्हारा बन जाऊंगा हो नज़र तो तेरी आसमान पर, तो सितारा बन जाऊंगा तुझसे मिलने की आरज़ यूं ही कब तक रहेगी अधूरी …
तुझे पाने का रास्ता कहाँ से जाता है हर रास्ता मंदिर मस्जिद के बीच टकराता है इंसान बंटा अब यहा सिर्फ मजहबो में इंसानियत का मजहब अब कौन निभाता …
तुझ से जो नज़र मिली तो मुस्कराना आ गया तुम्हारी जुल्फ उडी जो हवा में तो मौसम सुहाना आ गया खबर नहीं थी कि इक दिन इस दिल की …
कब तक यूं दुखी रहेगा ये धरती का भगवान सबका ये है पेट भरता फिर भी रोज़ मरता किसान नंगी धरती का करता नित्य नया शृंगार इनकी ही बदौलत …
हिन्द धरा है परम वीरों की करूँ मैं नमन बारम्बार वतन के हित में जो बलि हुए वो भारत के हैं अमूल्य उपहार हैं वो बड़े भाग्यशाली जो वतन …
हिन्द धरा है परम वीरों की करूँ मैं नमन बारम्बार वतन के हित में जो बलि हुए वो भारत के हैं अमूल्य उपहार हैं वो बड़े भाग्यशाली जो वतन …
फिर इस दिल की धड़कन ने दी आवाज़ है उनके रुख का बेपर्दा होने का क्या राज है फिर इस दिल की धड़कन ने दी आवाज़ है दिनो के …
कहाँ गयी तू ऐ दिल्ली की सर्दी इस बार तूने देर से आने की हद कर दी वो सर्द दिन, वो ठिठुरन भरी रातें नहीं दिख रहा कोई हाथ …