मुझे ठोकरों में मिलाना rakesh kumar 15/08/2018 राकेश कुमार 3 Comments अब ना वो रंगे वफा दिल मेंना अब चाहतों का खजाना बस दूर से देखते हैं कितना बड़ा है मेरा ठिकाना वो करती रही शिकायतमेरे ख्वार होने कीकहाँ देख … [Continue Reading...]