सुजान छंद (पर्यावरण) Basudeo Agarwal 10/04/2021 बासुदेव अग्रवाल 'नमन' No Comments पर्यावरण खराब हुआ, यह नहिं संयोग। मानव का खुद का ही है, निर्मित ये रोग।। अंधाधुंध विकास नहीं, आया है रास। शुद्ध हवा, जल का इससे, होय रहा ह्रास।। … [Continue Reading...]
इच्छा ये तुम्हारी है Raja Nitin Parihar 03/10/2020 नितिन परिहार 'राजा' No Comments इच्छा ये तुम्हारी है देखो सब उजड़ते हुए फूल पत्ते पेड़ झड़ते हुए या नए पुष्प खिलते हुए उनपर भौंरे उड़ते हुए इच्छा ये तुम्हारी है ॥ १ ॥ … [Continue Reading...]