“मैं निशा हूं” हंसराज केरेकार 'राजहंस' 28/06/2020 अज्ञात कवि 2 Comments मैं निशा हूं सोचा कि आज कह ही दूं सबकुछ। निर्दोष हूं, अकेली हूं, प्यारी भी हूं सचमुच। मेरी तन्हाई को सिर्फ वहीं समझ सकता है- जिसने आविरक्त प्रेम … [Continue Reading...]