मन है समंदर
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एक समंदर
है हर एक
मन के अंदर
देखा हमने
डूबकर
अपने अंदर
हद से ज्यादा
गहरा निकला
मन का समंदर
डूब गए हम
समंदर के अंदर
डूबकर
हमने देखा
तमाम समंदर
तली में पाया
एक और समंदर
डूबे हुए हैं
डूबे हुए ही
अब डूबना है
तल के अंदर
देखना है
नया समंदर
मन कहता है
नये समंदर
के अंदर हैं
कई समंदर
देखेंगे हम
सभी समंदर !
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-गुमनाम कवि (हिसार)
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bahut khub…….
हार्दिक आभार संग सादर नमन ǃ
बहुत खूबसूरत जिज्ञासा…..
हार्दिक आभार संग सादर नमन ǃ