प्यार हमदर्दी से काबु होता है बब्बरशेर भी हिम्मत उसे प्यार करने की हो ।
कुछ न बीगाड पाती है मुसीबते हिम्मत अगर उस से लडने की हो ।
हर मुश्किल आसां होंगी मुश्किलो का डर दिल मे न हो ।
जन्नत बन जायेंगी दुनिया प्यार इन्सानियत गर सब के दिल मे हो ।
(अशफाक खोपेकर)
writer / director of hindi marathi films member of f.w.a,m.c.a.i and i.f.t.d.a, chairman of dadasaheb phalke film foundation mumbai ,india.managing director of afreen channels [p].ltd, proprietor of afreen music.
2 Comments
विजय कुमार सिंह08/06/2016
काश! इन्सानियत सब के दिल मे होती तो निश्चित ही दुनिया जन्नत होती. खूबसूरत रचना…
काश! इन्सानियत सब के दिल मे होती तो निश्चित ही दुनिया जन्नत होती. खूबसूरत रचना…
Nice………………………..