सैलाब
इस दिल की दुनिया बसाई थी हमने
तेरी ही मोहब्बत में …………………………..
आंसूओं के सैलाब में बह गयी
तेरी बेवफाई से वो …………………………
शायर : सर्वजीत सिंह
[email protected]
सैलाब
इस दिल की दुनिया बसाई थी हमने
तेरी ही मोहब्बत में …………………………..
आंसूओं के सैलाब में बह गयी
तेरी बेवफाई से वो …………………………
शायर : सर्वजीत सिंह
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बेवफाई के अंजाम ऐ बयाँ……..लाजबाब सर्वजीत जी !!
आपकी उत्साह वर्दक प्रशंसा के लिए बहुत बहुत धन्यवाद निवातियाँ जी !!
दर्द की अधिकता की अच्छी तुलना
आपके स्नेह और प्रशंसा के लिए बहुत बहुत धन्यवाद मधुकर जी !!