Homeअज्ञात कविलेकिन क्यों हुआ…! लेकिन क्यों हुआ…! Ashwani Mishra अज्ञात कवि 05/10/2015 3 Comments ना था कुछ तो खुदा था, कुछ ना होता तो खुदा होता….!! डुबाया मुझको उन्होनें, गर मैं ना होता तो क्या होता.–} अच्छा होता कि मैं मर गया होता…!! जो हुआ सो हुआ – लेकिन क्यों हुआ, अच्छा होता कि ये सब ना होता….!! Tweet Pin It Related Posts दिल की बात – राकेश आर्यन जायें तो कहां जायें-शिवचरण दास जो रिश्ते थे बनाए……………राकेश राठी About The Author ashwani09 3 Comments Shishir "Madhukar" 05/10/2015 प्रेम पीड़ा और वैराग्य को दर्शाती अच्छी रचना Reply Er. Anuj Tiwari"Indwar" 05/10/2015 हिन्दी साहित्य वार्ट्सअप ग्रुप मे आप का स्वागत है …. ज्वाइन के लिये ९१५८६८८४१८ पर आप का मोब. न. दे … Reply निवातियाँ डी. के. 05/10/2015 सुंदर अभिव्यक्ति …!! Reply Leave a Reply Cancel reply Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.
प्रेम पीड़ा और वैराग्य को दर्शाती अच्छी रचना
हिन्दी साहित्य वार्ट्सअप ग्रुप मे आप का स्वागत है ….
ज्वाइन के लिये ९१५८६८८४१८ पर आप का मोब. न. दे …
सुंदर अभिव्यक्ति …!!