Homeअरुणा रायआखिर हम आदमी थे आखिर हम आदमी थे शिवम अरुणा राय 22/02/2012 No Comments इक्कीसवीं सदी के आरंभ में भी प्यार था वैसा ही आदिम शबरी के जमाने सा तन्मयता वैसी ही थी मद्धिम था स्पर्श गुनगुना… आखिर हम आदमी थे … इक्कीसवीं सदी में भी Tweet Pin It Related Posts मौन का हाथ अकारण प्यार से यूँ ही तो नहीं About The Author शिवम Leave a Reply Cancel reply Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.